समस्तीपुर: जिलाधिकारी रोशन कुशवाहा ने समाहरणालय स्थित अपने कार्यालय प्रकोष्ठ में कार्यालय प्रबंधन को लेकर समीक्षा बैठक की। इस बैठक में जिलाधिकारी ने सभी विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिया कि अपने कार्यालयों से संबंधित सभी महत्वपूर्ण संचिकाओं और दस्तावेजों को सुव्यवस्थित और सुरक्षित रखने की व्यवस्था सुनिश्चित करें।
दस्तावेज प्रबंधन को लेकर विस्तृत दिशा-निर्देश
डीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि सभी संचिकाओं और दस्तावेजों को वर्षवार, क्रियाशील और अक्रियाशील के आधार पर सूचीबद्ध करें। इसके लिए इंडेक्स तैयार करना अनिवार्य होगा। उन्होंने कहा कि जिन दस्तावेजों की वर्तमान में आवश्यकता नहीं है, उन्हें लाल कपड़े में बांधकर लोहे या स्टील के बॉक्स में सुरक्षित रखा जाए। वहीं, जो संचिकाएं नियमित उपयोग में हैं, उन्हें रैक पर वर्षवार और उनकी महत्वपूर्णता के आधार पर व्यवस्थित तरीके से रखा जाए।
दस्तावेज खोजने में समस्याओं को दूर करने पर जोर
डीएम ने बैठक में यह भी उल्लेख किया कि अक्सर अप्रयुक्त या बेकार दस्तावेजों की वजह से महत्वपूर्ण संचिकाओं को खोजने में काफी परेशानी होती है। इसके समाधान के लिए कार्यालय प्रबंधन को व्यवस्थित करने की आवश्यकता है। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि दस्तावेजों और संचिकाओं को सही तरीके से संरक्षित करने से न केवल कार्यक्षमता में वृद्धि होगी, बल्कि समय की भी बचत होगी।
आवश्यक सामग्री की मांग का निर्देश
जिलाधिकारी ने सभी पदाधिकारियों को निर्देश दिया कि अपने कार्यालयों की आवश्यकताओं का आकलन कर आवश्यक सामग्री की मांग शीघ्र जिला नजारत शाखा से करें। इस कार्य की प्रगति की समीक्षा के लिए पुनः एक बैठक आयोजित की जाएगी।
बैठक में वरिष्ठ अधिकारी रहे उपस्थित
समीक्षा बैठक में समस्तीपुर के अपर समाहर्ता अजय कुमार तिवारी, लोक शिकायत निवारण के अपर समाहर्ता शशिकांत पासवान, आपदा प्रबंधन के अपर समाहर्ता राजेश सिंह समेत अन्य जिला स्तरीय अधिकारी उपस्थित रहे। जिलाधिकारी ने इस बैठक को कार्यालय प्रबंधन को बेहतर बनाने और कार्यों को सरल एवं प्रभावी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया।
यह पहल प्रशासनिक कार्यों को पारदर्शी और सुगम बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण मानी जा रही है।